रोहतक में किसान मोर्चा का प्रदर्शन, डीसी ऑफिस का घेराव
रोहतक, हरियाणा। संयुक्त किसान मोर्चा के सदस्यों ने आज रोहतक में जिला उपायुक्त (डीसी) कार्यालय का घेराव कर सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारी किसान सरकार विरोधी नारे लगा रहे थे और उन्होंने चेतावनी दी कि यदि 17 मार्च तक उनकी समस्याओं का समाधान नहीं किया गया तो वे डीसी ऑफिस के बाहर अनिश्चितकालीन धरना शुरू कर देंगे।
अखिल भारतीय किसान सभा के प्रदेश सचिव सुमित सिंह ने प्रदर्शनकारियों को संबोधित करते हुए कहा कि सरकार एक नई कृषि व्यापार नीति लेकर आई है, जो तीन विवादास्पद कृषि कानूनों का ही बदला हुआ स्वरूप है। उन्होंने कहा कि किसान इस नीति के खिलाफ हैं और सरकार इसे जबरन लागू करने पर अड़ी हुई है।
सिंह ने आरोप लगाया कि हजारों किसानों को अभी तक पिछला मुआवजा नहीं मिला है, जिसमें 2022 का 40 प्रतिशत मुआवजा, खरीफ की फसल का मुआवजा और 2023-24 में रबी की फसल का मुआवजा शामिल है। उन्होंने यह भी कहा कि 2024 में ओलावृष्टि से खराब हुई फसल का मुआवजा भी अभी तक नहीं दिया गया है।
किसान नेता ने बताया कि किसान लगातार प्रशासनिक अधिकारियों के चक्कर काट रहे हैं, लेकिन प्रशासन किसानों को कोई संतोषजनक जवाब नहीं दे रहा है। उन्होंने कहा कि प्रशासन किसानों के मुआवजे को लेकर गंभीर नहीं है।
सिंह ने किसानों की नहरी पानी की समस्या, जोहड़ की सफाई, सेम ग्रस्त एरिया का प्रबंधन, 2000 रुपये प्रति एकड़ सुखा राहत कोष, सहायता राशि जारी करने और 1000 रुपये प्रति एकड़ पराली प्रबंधन का बकाया जारी करने की मांग की।
उन्होंने यह भी घोषणा की कि गेहूं पर बोनस की मांग और अन्य प्रदेश स्तरीय मुद्दों को लेकर 20 मार्च को कुरुक्षेत्र में एक जोरदार विरोध प्रदर्शन किया जाएगा। उन्होंने सरकार को चेतावनी दी कि यदि किसानों पर किसी प्रकार की बर्बरतापूर्ण कार्रवाई करने का प्रयास किया गया तो किसान चुप नहीं रहेंगे और सरकार को इसका खामियाजा भुगतना पड़ेगा।